कृषि विश्वविद्यालय के 59 वे स्थापना दिवस समारोह में रीवा की आदिवासी महिला कृषक सम्मानित
रीवा, कृषि महाविद्यालय रीवा म प्र में आयोजित जवाहरलाल नेहरू कृषि विश्व विद्यालय जबलपुर का 59 वा स्थापना दिवस वर्चुअल माध्यम से मनाया गया जिसके मुख्य अतिथि माननीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर भारत सरकार थे और कार्यक्रम की अध्यक्षता कुलपति प्रो पी के बिसेन ने किया।
इस अवसर पर विश्व विद्यालय के उपलब्धि के विषय पर बताया गया साथ ही साथ विभिन्न पुरस्कारों की घोषणा की गई। इसी कड़ी में कृषि विज्ञान केंद्र रीवा के वैज्ञानिकों के मार्गदर्शन में श्रीमती सोनिया आदिवासी ग्राम मौहरा तहसील सेमरिया रीवा महिला स्वयं सहायता समूह का गठन कर आदिवासी एवम पिछड़े छेत्र की महिला कृषकों को उन्नत कृषि तकनीक के विभिन्न आयामों व विविधतापूर्ण कृषि एवम कृषि से संबंधित सहायक वयसायो के प्रति जागरूकता एवम महिला सशक्तिकरण की दिशा में उल्लेखनीय कार्य के लिए जवाहरलाल नेहरू कृषि विश्वविद्यालय आदिवासी उत्कृष्ट कृषक महिला सम्मान 2022 को कृषि महाविद्यालय एवम कृषि विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिकों, प्राध्यापको, छात्र छात्राओं एवम अधिकारियों एवम कर्मचारियों की उपस्थिति में आयोजित विश्वविद्यालय स्थापना समारोह में महाविद्यालय के अधिष्ठाता प्रो एस के पयासी एवम केंद्र के प्रमुख डा ए के पांडेय एवम वरिष्ठ प्राध्यापको द्वारा सोनिया आदिवासी को सम्मान पत्र एवम प्रशस्ति पत्र के साथ शाल एवम श्रीफल देकर सम्मानित किया गया।
इस अवसर पर अधिष्ठाता ने कृषि विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिकों द्वारा किए जा रहे कृषकों के कल्याण के कार्य की सराहना की। केंद्र प्रमुख ने बताया कि महिला सम्मान जो मिला है उसमे एफ पी ओ एवम केंद्र के वैज्ञानिकों का विशेष योगदान रहा। कुलपति प्रो पी के बिसेन एवम संचालक विस्तार सेवाएं प्रो दिनकर प्रसाद शर्मा जवाहरलाल नेहरू कृषि विश्वविद्यालय जबलपुर एवम डा एस आर के सिंह अटारी जबलपुर ने सोनिया आदिवासी एवम केंद्र प्रमुख के साथ साथ वैज्ञानिकों को उनके द्वारा किए जा रहे उत्कृष्ट कार्यों के लिए बधाई एवम शुभकामनाएं दी। इस कार्यक्रम में प्रो एस के त्रिपाठी ने महाविद्यालय एवम केंद्र के उपलब्धियों पर चर्चा की। इस अवसर पर सभी वैज्ञानिक, प्राध्यापक गण, कृषक, छात्र छात्राएं एवम अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित रहे जिनोहने सोनिया आदिवासी एवम केंद्र के वैज्ञानिकों को बधाई एवम शुभकामनाएं दी। कार्यक्रम का संचालन डा आर के तिवारी और धन्यवाद डा के सी सिंह ने किया।