गन्ने में खरपतवार प्रबंधन हेतु क्या करें किसान : डॉ के एम सिंह
डॉ शशिकान्त सिंह
नानपारा। आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, कुमारगंज, अयोध्या के कुलपति प्रो.बिजेंद्र सिंह एवं निदेशक प्रसार प्रो.ए पी राव के कुशल नेतृत्व में संचालित कृषि विज्ञान केंद्र, नानपारा, बहराइच के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं अध्यक्ष डॉ के एम सिंह ने बताया कि इस समय गन्ने में खरपतवार प्रबंधन प्रक्रिया करें। सुप्रभात प्रबंधन हेतु गन्ने में गुड़ाई करें। खरपतवार खेत में अधिक हैं, तो उस समय एट्राजिन 1 किलोग्राम प्रति एकड़, सिमेजिंग 500 ग्राम या मैट्रिब्यूशन 100 ग्राम प्रति एकड़ की दर से 250 लीटर पानी मे घोल बनाकर स्प्रे करें। गन्ने के खेत में है चौडी पत्ती वाले खारपतवार मोथा की अधिक समस्या है तो हैलोसल्फ्यूरॉन मिथाइल 75% डब्ल्यू जी 36 ग्राम (सेम्प्रा), 2,4-डी एथिल एस्टर 38% ईसी) शाकनाशी नामक दवा का स्प्रे करें। उद्यान वैज्ञानिक डॉक्टर शशांक शेखर ने बताया यदि गन्ने के साथ ककड़ी करू तरबूज का से फसली खेती की जा रही है तो उसमें बोरान 0.5 ग्राम एवं (0:52:34) एन.पी.के. को 10 ग्राम प्रति लीटर के हिसाब से खरपतवार नाशी के प्रयोग से 8 से 10 दिन बाद स्प्रे करें।